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कोरोना के बीच अब इस खतरनाक वायरस का बढ़ा खतरा..

कोरोना के बीच अब इस खतरनाक वायरस का बढ़ा खतरा..

इन सात लक्षणों को भूलकर भी न करें नजरअंदाज..

 

 

देश-विदेश: केरल में कोरोना का संक्रमण काफी तेजी से फैल रहा है और इस वजह से केरल सरकार ने पूरे राज्य में नाइट कर्फ्यू और रविवार को लॉकडाउन जारी रखने का निर्णय भी लिया है। इसके साथ ही वहां पर अब एक नए वायरस का खतरा भी मंडराने लगा है, जिसका नाम है निपाह वायरस। बताया जा रहा है कि केरल के कोझिकोड में इस वायरस से एक 12 साल के बच्चे की मौत हो गई है। पुणे के नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ वायरोलॉजी ने इसकी पुष्टि भी कर दी है।

 

रिपोर्ट्स के अनुसार बच्चे की तबीयत बहुत ज्यादा खराब होने के बाद उसे अस्पताल में भर्ती कराया गया था, लेकिन उसकी हालत में कोई सुधार नहीं हो रहा था। जिसके बाद उसकी मौत हो गई। हालांकि यह पहली बार नहीं है कि जब केरल में निपाह वायरस से कोई संक्रमित हुआ है, बल्कि वहां अक्सर इसके मामले सामने आते रहते हैं।

 

कितना खतरनाक है निपाह वायरस..

विशेषज्ञों का कहना हैं कि निपाह वायरस कितना खतरनाक है, इसका अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि इस वायरस से संक्रमित होने वाले लोगों में 40 से 75 फीसदी तक की मौत हो जाती है और सबसे बड़ी चिंता की बात ये है कि इसका कोई इलाज भी नहीं है। विश्व स्वास्थ्य संगठन ने निपाह वायरस को दुनिया के 10 सबसे खतरनाक वायरस की सूची में शामिल किया है।

 

 

 

निपाह वायरस के खतरनाक होने के और भी कई कारण हैं। इसका इंक्यूबेशन पीरियड यानी संक्रामक समय बहुत लंबा होता है, कभी-कभी तो 45 दिन। ऐसे में अगर कोई व्यक्ति इस वायरस से संक्रमित हो जाता है, तो उसे इसके बारे में पता ही नहीं होता और ऐसे में वह इस वायरस को और भी लोगों में फैला रहा होता है।

 

कैसे फैलता है ये वायरस..

विशेषज्ञ कहते हैं कि फ्रुट बैट्स या चमगादड़ों में निपाह वायरस प्राकृतिक रूप से पाया जाता है। यानी अगर कोई व्यक्ति चमगादड़ों के सीधे संपर्क में आता है, तो वह निपाह वायरस से संक्रमित हो सकता है। इसके अलावा दूषित भोजन करने से भी ये वायरस इंसान को संक्रमित कर सकता है। आपको बता दे कि इस वायरस से संक्रमित चमगादड़ जब कोई फल खाते हैं, तो अपनी लार को उसी पर छोड़ देते हैं और ऐसे में इंसान जब उस फल का सेवन करता है तो वह भी इस वायरस से संक्रमित हो जाता है। लार के अलावा यह वायरस चमगादड़ के मूत्र और संभावित रूप से चमगादड़ के मल और जन्म के समय तरल पदार्थों में मौजूद होता है।

 

निपाह वायरस के लक्षण..

निपाह वायरस से संक्रमित लोगों में तेज बुखार, खांसी, थकान, सांस लेने में तकलीफ, सिर दर्द, मांसपेशियों में दर्द और एनसीफिलाइटिस जैसे लक्षण दिख सकते हैं। विशेषज्ञ कहते हैं कि एनसीफिलाइटिस होने पर दिमाग में सूजन आ जाती है और ऐसे में मरीज की मौत तक हो सकती है।

 

निपाह वायरस से बचाव के उपाय..

खाना खाने से पहले और खाने के बाद अपने हाथों को अच्छी तरह से जरूर धोएं।

दूषित फलों को खाने से बचें (खासकर दूषित खजूर और आम)

संक्रमित व्यक्ति से दूर रहें।

इस वायरस की वजह से जिनकी मौत हुई हो, उनके शव से भी दूर रहें।

 

 

 

 

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