उत्तराखंड

एक सप्ताह के भीतर शत-प्रतिशत निक्षय मित्र बनाने के निर्देश..

एक सप्ताह के भीतर शत-प्रतिशत निक्षय मित्र बनाने के निर्देश..

टीबी मुक्त भारत अभियान को सफल बनाने को लेकर डीएम ने ली बैठक..

 

 

 

 

 

 

रुद्रप्रयाग। जिलाधिकारी मयूर दीक्षित की अध्यक्षता में राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन की समीक्षा बैठक का आयोजन किया गया। इस दौरान टीबी मुक्त भारत अभियान को सफल बनाने के लिए एक सप्ताह में शत-प्रतिशत निक्षय मित्र बनाने का लक्ष्य रखा गया। बैठक में एनएचएम के अंतर्गत संचालित विभिन्न कार्यक्रमों की प्रगति की समीक्षा के दौरान जिलाधिकारी द्वारा आवश्यक दिशा-निर्देश दिए गए।

जिला कार्यालय के एनआईसी कक्ष में आयोजित बैठक में मुख्य चिकित्सा अधिकारी डाॅ एचसीएस मार्तोलिया ने राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के अंतर्गत विभिन्न कार्यक्रमों की प्रगति रिपोर्ट प्रस्तुत की। उन्होंने राष्ट्रीय क्षय उन्मूलन कार्यक्रम की समीक्षा के दौरान अवगत कराया कि टीबी रोगियों की सहायता के लिए संचालित प्रधानमंत्री टीबी मुक्त भारत अभियान के अंतर्गत जनपद में 104 टीबी मरीजों की सहायता के लिए 99 लोगों का निक्षय मित्र के रूप में पंजीकरण किया गया है। वहीं 89 टीबी रोगियों की सहायता के लिए निक्षय मित्र बनाए जाने हैं। जिलाधिकारी ने एक सप्ताह के अंतर्गत शत-प्रतिशत निक्षय मित्र बनाने के निर्देश दिए हैं।

साथ ही जिलाधिकारी ने राष्ट्रीय बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम के अंतर्गत संदर्भित बच्चों को शत-प्रतिशत ईलाज के लिए हायर सेंटर तक पहुंचाने, राष्ट्रीय किशोर स्वास्थ्य कार्यक्रम के अंतर्गत यथा समय पीयर एजुकेटर का चयन सुनिश्चित करने, हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर का निर्माण कार्य गुणवत्ता के साथ समय पर पूर्ण करने, ई-संजीवनी ओपीडी सेवा का अधिक से अधिक लाभ पहंुचाने के लिए सीएचओ के माध्यम से पंजीकरण बढ़ाने, पीसीपीएनडीटी कार्यक्रम के अंतर्गत दो या दो से अधिक बालिकाओं वाली दम्पतियों की सूची तैयार कर निरंतर निगरानी रखने के निर्देश दिए गए। आशा कार्यक्रम की समीक्षा के दौरान कतिपय आशा कार्यकत्रियों का अपने कार्य क्षेत्र से बाहर निवास करने से संबंधित शिकायत प्रकाश में आने पर जिलाधिकारी द्वारा सेवित क्षेत्र से बाहर निवासरत पाए जाने पर संबंधित आशा के विरुद्ध आवश्यक कार्यवाही करने के भी निर्देश दिए गए।

उन्होंने तीनों विकास खंडों में संचालित हो रहे स्वास्थ्य केंद्रों में आने वाले मरीजों को बेहतर स्वास्थ्य सुविधा उपलब्ध कराने के निर्देश दिए हैं। साथ ही जीर्ण-शीर्ण भवनों में संचालित हो रहे स्वास्थ्य केंद्रों को दुरस्त करने के लिए व्यय का आंगणन प्रस्ताव तैयार कर उपलब्ध कराने के भी निर्देश दिए हैं। इस अवसर पर अपर मुख्य चिकित्सा अधिकारी डाॅ. विमल सिंह गुसांई, जिला प्रतिरक्षक अधिकारी डाॅ. आशुतोष कुमार, डाॅ. हेमा असवाल, डाॅ. गोपाल सजवाण, डाॅ. यास्मिन आदि उपस्थित रहे।

 

 

 

 

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