मौसम विभाग के अनुसार बुधवार से गुरुवार तक प्रदेश में भारी बारिश का अनुमान है।
देहरादून : उत्तराखंड में भले ही मंगलवार को मौसम ने राहत दी, लेकिन आगामी दो दिन फिर भारी पड़ने वाले हैं। मौसम विभाग के अनुसार बुधवार से गुरुवार तक प्रदेश में भारी बारिश का अनुमान है। वहीं, मंगलवार को मौसम साफ होने से पिथौरागढ़ में आठ दिन से फंसे कैलास-मानसरोवर यात्रियों को हेलीकॉप्टर से गुंजी पहुंचा दिया गया। मौसम पर्वतीय क्षेत्रों की कड़ी परीक्षा ले रहा है। मलबा आने से पहाड़ की लाइफलाइन सड़कें जगह-जगह बंद हैं। करीब 56 संपर्क मार्गों पर आवागमन बाधित है। इनमें सर्वाधिक 14-14 सड़कें पिथौरागढ़ और चमोली जिले में हैं। 21 जुलाई से बंद यमुनोत्री हाईवे की स्थिति जस की तस बनी हुई है। बड़कोट के निकट डाबरकोट में सक्रिय भूस्खलन जोन हाईवे के लिए नासूर बन चुका है।
राष्ट्रीय राजमार्ग बडकोट खंड के अधिशासी अभियंता नवनीत पांडेय ने बताया कि 400 मीटर भाग को प्रभावित कर रहा डाबरकोट भूस्खलन जोन का ऑलवेदर रोड के तहत दो बार सर्वे हो चुका है, लेकिन कोई नतीजा नहीं निकल सका। उन्होंने बताया कि भारतीय भू-विज्ञान सर्वेक्षण के वैज्ञानिकों के अनुसार जब तक पहाड़ी से भूस्खलन जारी है तब तक ट्रीटमेंट संभव नहीं और यह बताना मुश्किल है कि भूस्खलन कब थमेगा। इसके अलावा गंगोत्री हाईवे भी मलबा आने से करीब पांच घंटे बंद रहा।
कैलास मानसरोवर यात्रियों ने ली राहत की सांस
आठ दिन से पिथौरागढ़ में इंतजार कर रहे कैलास-मानसरोवर यात्रा दल के 58 सदस्यों पर मौसम मेहरबान हुआ तो हेलीकॉप्टर की उड़ान भी संभव हो गई। सभी सदस्य अगले पड़ाव गुंजी पहुंच गए हैं। इसके साथ ही यात्रा पूरी करने के बाद गुंजी में फंसे पांचवे और छठे दल के 114 सदस्य पिथौरागढ़ लौट आए। जबकि अल्मोड़ा में ठहरे नौवें दल के 54 सदस्यों को अभी रोका गया है।
