रुद्रप्रयाग। राजकीय आयुर्वेदिक एवं यूनानी फार्मेसिस्ट एसोसिएशन की कार्यकारिणी की बैठक अध्यक्ष एसएस राणा की अध्यक्षता में आहूत की गई, जिसमें संघ की मांगों पर चर्चा की गई। बैठक में कहा गया कि वर्ष 1988 के बाद नियुक्त फार्मासिस्टों की वरिष्ठता सूची जारी की जाय और तीन वर्षों से लंबित चिकित्सा प्रतिपूर्ति के बिलों का भुगतान किया जाय। सीसीएल की ऋण सीमा दस लाख से बढ़ाकर पन्द्रह लाखा तक की जाय तथा फार्मेसिस्टों के ऋण, उपार्जित अवकाश के प्रकरणों पर समय से आयुर्वेदिक एवं यूनानी अधिकारी द्वारा हस्ताक्षर किये जायं। एसोसिएशन के अध्यक्ष एसएस राणा एवं महामंत्री रजत कुमार ने कहा कि मांगों को लेकर शासन स्तर पर दबाव बनाया जा रहा है। संघ की आयुषविंगों में नियुक्त प्रभारी फार्मेसिस्टों को प्रभार भत्ता दिये जाने, मकान किराया भत्ते का एरियर के रूप में भुगतान करने, औषधियां चिकित्सालय के मांगपत्र के अनुसार ही दिये जाने, आयुषविंगों में फार्मासिस्टों का कन्टीजेन्सी बिलों का भुगान एवं स्टेशनरी, फर्नीचर की व्यवस्था सुचारू रूप से किये जाने की मांग है। उन्होंने मांग करते हुए कहा कि संगठन के प्रस्ताव का जल्द से जल्द निस्तारण करने के बाद लिखित सूचना में संगठन को अवगत कराया जाय। इस मौके पर राजेन्द्र सिंह शाह, एमडी थपलियाल, कप्तान सिंह भंडारी, किशोर कुमार, अमित भूषण नौटियाल, विपिन बुटोला, सुभाष नेगी, श्रीमती रश्मि रावत, नीरज गौड़, अमित दरमोड़ा सहित कई मौजूद थे।
आयुर्वेदिक संघ की बैठक में मांगों पर चर्चा
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