उत्तराखंड

सैन्य धाम के उद्घाटन से पहले विवाद तेज, शिकायतकर्ता ने PMO को लिखा पत्र, लगाए नियम उल्लंघन के आरोप..

सैन्य धाम के उद्घाटन से पहले विवाद तेज, शिकायतकर्ता ने PMO को लिखा पत्र, लगाए नियम उल्लंघन के आरोप..

 

 

 

उत्तराखंड: उत्तराखंड राज्य अपने गठन के 25 वर्ष पूरे करने जा रहा है, और प्रदेश सरकार इस ऐतिहासिक अवसर को रजत जयंती वर्ष के रूप में भव्य तरीके से मनाने की तैयारी कर रही है। 9 नवंबर 2000 को बने उत्तराखंड ने अपने दो दशक से अधिक लंबे सफर में विकास, पर्यटन, आध्यात्मिकता और सैन्य गौरव के क्षेत्र में खास पहचान बनाई है। राज्य की इस ऐतिहासिक वर्षगांठ पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी उत्तराखंड के दौरे पर रहेंगे। अपने एक दिवसीय कार्यक्रम के दौरान प्रधानमंत्री देहरादून में निर्मित सैन्य धाम (पांचवां धाम) का उद्घाटन करेंगे, जिसे राज्य सरकार ने शहीद सैनिकों की स्मृति और सम्मान को समर्पित किया है। सैन्य धाम परियोजना सीएम पुष्कर सिंह धामी की महत्वाकांक्षी योजनाओं में से एक है। इसका उद्देश्य उत्तराखंड के वीर सैनिकों के त्याग और बलिदान को भावी पीढ़ियों तक पहुंचाना है। राज्य सरकार ने रजत जयंती समारोह के लिए राजधानी देहरादून से लेकर जिला मुख्यालयों तक कई कार्यक्रमों की रूपरेखा तैयार की है। देहरादून में होने वाले मुख्य समारोह में प्रदेश की सांस्कृतिक झलक, उपलब्धियों की प्रदर्शनी और वीर सपूतों को सम्मानित करने का कार्यक्रम शामिल रहेगा।

सीएम धामी ने अधिकारियों को निर्देश दिए हैं कि “राज्य की गौरवशाली यात्रा” को दर्शाने वाले कार्यक्रमों का आयोजन हो, ताकि उत्तराखंड की उपलब्धियां पूरे देश में प्रदर्शित की जा सकें। हालांकि राज्य स्थापना दिवस पर पीएम मोदी के हाथों होने जा रहे सैन्य धाम उद्घाटन से पहले एक बड़ा विवाद सामने आया है। एडवोकेट विकेश सिंह नेगी ने पीएमओ को पत्र लिखकर आरोप लगाया है कि देहरादून के गुनियाल गांव में बनाए गए सैन्य धाम में बड़े पैमाने पर अनियमितताएं हुई हैं। नेगी का कहना है कि कार्यदायी संस्था ने प्रधानमंत्री कार्यालय को गुमराह किया है और नियमों को ताक पर रखकर निर्माण कार्य करवाया गया। उन्होंने यह भी दावा किया कि सैन्य धाम वन विभाग की भूमि पर बनाया गया है, जो पूरी तरह नियमों के खिलाफ है।

कांग्रेस ने इस मामले में शिकायतकर्ता एडवोकेट विकेश सिंह नेगी के आरोपों का समर्थन करते हुए सरकार पर भ्रष्टाचार और अनियमितताओं को छिपाने का आरोप लगाया है। कांग्रेस के प्रदेश महामंत्री राजेंद्र शाह ने कहा कि सैन्य धाम निर्माण में बड़े स्तर पर भ्रष्टाचार हुआ है। उन्होंने आरोप लगाया कि कांग्रेस ने इस प्रोजेक्ट में गड़बड़ियों की कई बार जांच की मांग की, लेकिन राज्य सरकार ने अब तक कोई निष्पक्ष जांच नहीं कराई। राजेंद्र शाह ने कहा कि “सैन्य धाम जैसी पवित्र परियोजना को भी भ्रष्टाचार की भेंट चढ़ा दिया गया है, जो बेहद शर्मनाक है। अगर सरकार के पास छिपाने को कुछ नहीं है, तो वह जांच से क्यों डर रही है? वहीं भाजपा ने कांग्रेस के आरोपों को सिरे से खारिज करते हुए कहा है कि विपक्ष केवल राजनीतिक लाभ के लिए इस विषय को तूल दे रहा है।

भाजपा प्रदेश महामंत्री कुंदन परिहार ने कहा कि “प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का उत्तराखंड आगमन पूरे राज्य के लिए गौरव का विषय है। 9 नवंबर का दिन ऐतिहासिक होने वाला है। इस अवसर पर पूरा प्रदेश उत्सव की भावना में डूबा है और सरकार इस कार्यक्रम को भव्य और गरिमामय तरीके से आयोजित करने पर फोकस कर रही है। उन्होंने आगे कहा कि “कांग्रेस को हर मौके पर राजनीति दिखती है, लेकिन जनता जानती है कि धामी सरकार पारदर्शिता और विकास के प्रति प्रतिबद्ध है। आपको बता दे कि एडवोकेट विकेश सिंह नेगी ने प्रधानमंत्री कार्यालय (PMO) को पत्र लिखकर आरोप लगाया था कि देहरादून के गुनियाल गांव में बनाए जा रहे सैन्य धाम के निर्माण में बड़े पैमाने पर अनियमितताएं और नियम उल्लंघन हुए हैं। नेगी का दावा है कि धाम वन विभाग की भूमि पर बनाया गया है, और कार्यदायी संस्था ने पीएमओ को गुमराह किया है। राज्य सरकार ने कहा है कि शिकायत की जानकारी संज्ञान में ली गई है, और सभी प्रक्रियाएं नियमों के तहत पूरी की गई हैं। इस विवाद के बावजूद राज्य सरकार 9 नवंबर को उत्तराखंड की रजत जयंती (25वीं वर्षगांठ) को भव्य समारोह के रूप में मनाने की तैयारी में जुटी है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के दौरे के दौरान सैन्य धाम का उद्घाटन, विकास परियोजनाओं की घोषणाएं और राज्य की उपलब्धियों को प्रदर्शित करने वाले कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे।

 

 

 

 

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