राहुल गाँधी ने किया हमला, किसान आंदोलन को लेकर…
देश-विदेश : 26 जनवरी को हुई घटना के बाद कमजोर लग रहा किसान आंदोलन एक बार फिर जोर पकड़ रहा है. कल किसान नेता राकेश टिकैत की आंखों से गिरे आंसुओं के बाद आंदोलन में फिर से यूटर्न आता दिख रहा है. 26 जनवरी के बाद कई किसान आंदोलन छोड़कर अपने-अपने घरों को लौट गए थे लेकिन अब वे दोबारा दिल्ली की ओर बढ़ चुके हैं.
गुरुवार शाम राकेश टिकैत के रोने की खबर हरियाणा और पश्चिमी उत्तर प्रदेश में फैलते ही किसान फिर से तैयार हो गये. हरियाणा के जींद, हिसार, भिवानी और गाजियाबाद से किसानों के लौटने की तस्वीरें सामने आई हैं. सभी किसानों ने साफ कर दिया है कि वे किसी भी हाल में आंदोलन को कमजोर या खत्म होने नहीं देंगे.
राकेश टिकैत की आंखों से आंसू निकलने की खबर फैलते ही यूपी से लेकर हरियाणा तक में हलचल मच गई. भिवानी, हिसार, कैथल, जींद, मुजफ्फरनगर, मेरठ, बागपत, बिजनौर से रात में ही किसानों का जत्था गाजीपुर की तरफ निकल पड़ा. हरियाणा और पश्चिमी यूपी के अलग अलग जिलों से देर रात ही किसानों के गाजीपुुर बॉर्डर के आने का सिलसिला शुरू हो गया.
गाजीपुर बॉर्डर पर प्रशासन की सख्ती के बाद तो खुद राकेश टिकैत के भाई और भारतीय किसान यूनियन के अध्यक्ष नरेश टिकैत भी आंदोलन खत्म करने की बात कह रहे थे. लेकिन भाई की आंखों में आंसू ने नरेश टिकैत का इरादा भी बदल गया. मुजफ्फरनगर में महापंचायत बुलाई गई और धरना जारी रखने का फैसला कर लिया गया. इतना ही नहीं सुबह ग्यारह बजे मुजफ्फरनगर के जीआईसी ग्राउंड में किसानों की दोबारा महापंचायत बुलाई गई है जिसको आरएलडी ने भी अपना समर्थन दे दिया है.