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गोल्‍फर अदिति अशोक ने एक शॉट से पदक गंवाया,लेकिन ओलंपिक में बना गईं इतिहास..

गोल्‍फर अदिति अशोक ने एक शॉट से पदक गंवाया,लेकिन ओलंपिक में बना गईं इतिहास..

देश-विदेश: टोक्यो ओलिंपिक में भारतीय गोल्फर अदिति अशोक इतिहास बनाने से चूक गयी। अदिति ने आखिरी होल्स में मेडल गंवा दिया। अमेरिका की नेली कोर्डा ने गोल्ड जीता हैं। अदिति 13वें होल तक दूसरे स्थान पर चल रही थीं लेकिन आखिरी पांच होल में वह जापान की मोने इनामी और न्यूजीलैंड की लीडिया से पिछड़ गयी।

 

लेकिन भारत की महिला गोल्फर अदिति अशोक ने बड़ा कमाल किया हैं। उन्होंने गोल्फ में भारत के लिए मेडल तो नहीं जीता , पर इस खेल को देश में नई पहचान दिलाने का काम किया है। आपको बता दे कि अदिति दुनिया की 200वें नंबर की गोल्फर हैं। लेकिन अपने कमाल के खेल से उन्होंने मौजूदा वर्ल्ड नंबर वन अमेरिका की नेली कोर्डा और पूर्व वर्ल्ड नंबर वन लीडिया को को कड़ी टक्कर दी है। 23 साल की अदिति सिर्फ एक शॉट से मेडल जीतने से चूक गयी।

 

भारतीय गोल्फर अदिति अशोक का ये दूसरा ओलिंपिक था। उन्होंने 2016 के रियो में अपना ओलिंपिक डेब्यू किया था। अपने डेब्यू ओलिंपिक में तो वो मेडल से चूक गईं थी। शुरुआती दो राउंड में तो वहां उन्होंने अपने प्रदर्शन से खूब सुर्खियां बटोरी थीं, लेकिन बाद में वो लय कायम नहीं रख पाईं थीं और 41वें स्थान पर रहकर रियो में अपने सफर का अंत किया था। लेकिन टोक्यो में उन्होंने रियो की गलतियों से सबक लिया और चौथे नंबर पर रहकर अपने सफर का अंत किया।

 

एक शॉट से गंवाया मेडल

भारतीय गोल्फर अदिति अशोक ने गोल्फ इवेंट में शुरुआत से ही दमदार प्रदर्शन किया। उन्होंने मैच पर लगातार अपनी पकड़ बनाए रखी और टॉप 3 में जगह बनाकर रखी। तीसरे राउंड का खेल खत्म होने के बाद वो अमेरिका की गोल्फर नेली कोर्डा के बाद दूसरे नंबर पर थीं, यानी सिल्वर मेडल की प्रबल दावेदार थी। इसके बाद शनिवार को खेले चौथे और आखिरी राउंड में भी आखिर तक वो मेडल की कंटेंडर बनीं रही। लेकिन मैच में लगाए आखिरी शॉट पर हुई चूक से उनके हाथ से मेडल जीतने का मौका फिसल गया।

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