उत्तराखंड

सिंगल यूज प्लास्टिक के खिलाफ चारधाम में सफाई संकल्प, सीएम धामी ने मांगा जनसमर्थन..

सिंगल यूज प्लास्टिक के खिलाफ चारधाम में सफाई संकल्प, सीएम धामी ने मांगा जनसमर्थन..

 

 

उत्तराखंड: चारधाम यात्रा इस वर्ष 30 अप्रैल से शुरू होने जा रही है। यात्रा को लेकर प्रदेश प्रशासन से लेकर ज़िला स्तर तक की तैयारियां लगभग पूरी हो चुकी हैं। श्रद्धालुओं के उत्साह का अंदाज़ा इसी से लगाया जा सकता है कि अब तक 10 लाख से अधिक लोग ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन करा चुके हैं। चारधाम यात्रा मार्गों पर पेयजल, बिजली, स्वास्थ्य, सफाई, पार्किंग और आवासीय व्यवस्थाओं को लेकर लगातार काम किया गया है। सभी संबंधित विभागों को साइट पर ड्यूटी सौंप दी गई है। वही परिवहन विभाग में भी यात्रा में शामिल होने वाले वाहनों के लिए ग्रीन और ट्रिप कार्ड बनाने के लिए लगातार आवेदन आ रहे हैं। चारधाम यात्रा को लेकर देशभर के श्रद्धालुओं में जबरदस्त उत्साह है। तीर्थयात्रियों के लिए यह सिर्फ धार्मिक यात्रा नहीं, बल्कि आध्यात्मिक अनुभव और प्रकृति के निकट आने का अवसर भी है। इस बार यात्रा को और अधिक व्यवस्थित और सुरक्षित बनाने की दिशा में सरकार गंभीर प्रयास कर रही है।

सीएम पुष्कर सिंह धामी ने इस बार यात्रा को और बेहतर बनाने के लिए एक नई पहल की शुरुआत की है। जिसे उन्होंने “ग्रीन चारधाम यात्रा” का नाम दिया है। उनका कहना हैं कि हमारा प्रयास है कि तीर्थयात्रियों को न सिर्फ शुद्ध भोजन और स्वच्छ वातावरण मिले, बल्कि तीर्थ स्थलों पर सिंगल यूज प्लास्टिक की समस्या भी उत्पन्न न हो। हम इसके लिए हम सिंगल यूज प्लास्टिक को कम करने पुनः उपयोग करने और रीसाइकिल (Reduce, Reuse, Recycle) की नीति पर काम कर रहे हैं। इस पहल के अंतर्गत तीर्थ क्षेत्रों में प्लास्टिक के उपयोग को न्यूनतम करने के लिए कड़े नियम, सामाजिक जागरूकता और स्थानीय सहयोग लिया जाएगा।

सीएम धामी का कहना हैं सिंगल यूज प्लास्टिक की समस्या को लेकर खाद्य संरक्षा औषधि प्रशासन विभाग ने यात्रा शुरू होने से पहले ही यात्रा मार्ग के होटल और खाद्य कारोबारियों के साथ व्यापक स्तर पर संवाद और प्रशिक्षण कार्यक्रम शुरु किया है। इसमें हमें तीर्थयात्रियों-खाद्य व्यापारियों से लेकर स्थानीय लोगों तक सभी का सहयोग चाहिए।

 

आपको बता दे कि हर साल यात्रा के दौरान हजारों टन कूड़ा खासकर सिंगल यूज प्लास्टिक यात्रा मार्गों और तीर्थ स्थलों पर जमा हो जाता है। यह न केवल हिमालय की नाज़ुक पारिस्थितिकी के लिए हानिकारक है, बल्कि नदियों और जलवायु पर भी गंभीर असर डालता है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी ‘मन की बात’ कार्यक्रम में इस विषय को उठाकर हिमालय क्षेत्र को स्वच्छ रखने की अपील कर चुके हैं। राज्य सरकार भी सिंगल यूज प्लास्टिक की समस्या को लेकर समय-समय पर योजना चलाती है. यही कारण है कि इस बार भी राज्य सरकार ने ग्रीन चारधाम यात्रा के संकल्प के साथ तैयारी की है।

 

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