उत्तराखंड

होम स्टे योजना से ग्रामीणों की आर्थिकी होगी मजबूत: घिल्डियाल

जनपद के लिए लाभदायी सिद्ध होगी योजना
जिलाधिकारी ने ली ग्राम प्रधानों की बैठक
रुद्रप्रयाग। जिलाधिकारी मंगेश घिल्डियाल ने दीनदयाल उपाध्याय गृह आवास (होमस्टे) योजना की जिला कार्यालय सभागार में बैठक ली। जिलाधिकारी ने कहा कि राज्य में विविध प्रकार की पर्यटन गतिविधियां जो की ग्रामीण क्षेत्र की संस्कृति विरासत को ग्रामीण प्रवेश में परिलक्षित करने तथा ग्रामों में बसने वाले निवासियों की वित्तीय, सामाजिक तथा आर्थिक अवधारणा को जागृत कर पर्यटकों एवं ग्रामीणों के मध्य आपसी सामंजस्य स्थापित करते हुए गांवों में रोजगार और आय सृजन करने की आवधारणा तथा उत्तराखण्ड में देशी-विदेशी पर्यटकों को अधिक से अधिक संख्या में आकर्षित करने के उद्देश्य से दीन दयाल उपाध्याय गृह आवास (होमस्टे) योजना प्रारम्भ की गयी है। उन्होंने कहा कि ऐसे भवन स्वामी पर्यटक एवं यात्रियों को ठहरने के लिए अपने भवन में अतिरिक्त कक्षों को उपलब्ध कराना चाहते है। ऐसे कक्षों की अधिकतम संख्या छः तक का पंजीकरण कर सकते हैं।

जिलाधिकारी ने कहा कि यह योजना जनपद के लिए विशेष लाभदायी होगी, क्यांेकि जनपद मंे वीआईपी तथा पर्यटकों का विशेष ध्यान है। हर वर्ष पर्यटन इस जिले में बढ़ रहा हैं। इस योजना से जनपद को विशेष लाभ मिलेगा। यात्रा में भी अधिक से अधिक पर्यटक आ रहे हैं, जैसे सारी, गौन्डार, रांसी में भी लोग घर पर पर्यटक लोगों को अपने घर पर ही रखते हैं तथा सारी सुविधाएं देते है तथा उसी से अपनी आमदनी अर्जित करते है। जिलाधिकारी ने कहा कि इन लोगो को भी पर्यटन विभाग से अपना पंजीकरण करवाना अनिवार्य होगा जिससे इन लोगो भी अधिक-अधिक फायदा हो सकता है तथा इन लोगो का फोन नम्बर तथा होमस्टे को बेबसाइट पर अपलोड किया जायेगा, जिससे पर्यटक स्वंय उन लोगों से बात कर सकते हैं। सभी ग्राम प्रधानों से कहा कि अपने-अपने गांव को भी चिन्हित करें जैसे कार्तिक स्वामी मक्कूमठ, बधाणीताल, चिरबटिया, बसुकेदार जैसे प्रमुख है जिससे पर्यटक इन स्थानों पर अधिक आना शुरू हो जायंेगंे।

इस अवसर पर जिला पर्यटन अधिकारी पीके गौतम ने बताया कि गृह आवास (होमस्टे) योजना के अन्तर्गत भवन पूर्णतः आवासीय हो, भवन स्वामी अपने भवन में स्वयं निवास करता हो, अतिथियों की खान-पान की व्यवस्था भवन स्वामी द्वारा की जायेगी तथा गृह आवास (होमस्टे) में अतिथियों के लिए न्यूनतम एक तथा अधिकतम छः कक्षों की व्यवस्था की गयी हो। उन्होने कहा कि दीन दयाल उपाध्याय गृह आवास (होमस्टे) योजना के अन्तर्गत पंजीकरण के लिए आवेदक द्वारा आवेदन पत्र निर्धारित प्रारूप में, चरित्र प्रमाण पत्र (प्रशासन द्वारा प्रदŸा), नाॅटरी सत्यापित स्टाम्प, पंजीकरण शुल्क, ग्राम प्रधान तथा स्थानीय निकाय द्वारा अनापत्ति प्रमाण पत्र, पेनकार्ड, आधार कार्ड, भवन का फोटोग्राफ एवं भू-स्वामित्व प्रमाण पत्र अनिवार्य रूप प्रस्तुत करना होगा। बताया कि इस योजना के अन्तर्गत तीन श्रेणीयों में गोल्ड, सिलवर व ब्राउन में पंजीकरण किया जा सकता है। इस अवसर पर संयुक्त मजिस्टेªट गौरव, डीडीओ एएस गुंजियाल, महा प्रबन्धक जिला उद्योग केन्द्र पीएस सजवाण, जिला पंचायत राज अधिकारी विद्यासागर, साहसिक खेल पर्यटन अधिकारी सुशील नौटियाल, तीनो ब्लाॅक के खण्ड विकास अधिकारी सहित जनप्रतिनिधि उपस्थित थे।

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