उत्तराखंड

लगातार हो रही बारिश, भूस्खलन से गंगोत्री और टनकपुर-पिथौरागढ़ हाईवे बंद..

लगातार हो रही बारिश, भूस्खलन से गंगोत्री और टनकपुर-पिथौरागढ़ हाईवे बंद..

उत्तराखंड: प्रदेश में लगातार दूसरे दिन भी बारिश का सिलसिला जारी है। लगातार हो रही बारिश ने लोगों को गर्मी से निजात भी दी है। इसके साथ ही हल्द्वानी में भारी बारिश के कारण कई जगह जलभराव भी हो गया है। वहीं, सुबह बारिश के चलते उत्तरकाशी जिले के लोहारी नाग पाला में भूस्खलन हो गया। मलबा आने के कारण गंगोत्री हाईवे भी बंद हो गया है। साथ ही टनकपुर-पिथौरागढ़ राष्ट्रीय राजमार्ग भी भूस्खलन के कारण स्वांला के पास बंद हो गया है। एनएच पर धौन के पास मलबे में एक कार भी फंस गई है। आपको बता दें कि मौसम विभाग ने आज नैनीताल, पौड़ी और पिथौरागढ़ जैसे पर्वतीय जिलों में अगले 24 घंटे में भारी बारिश की संभावना के साथ ही कई इलाकों में आकाशीय बिजली गिरने की संभावना जताई है। जबकि अन्य जिलों में हल्की से मध्यम बारिश की संभावना है।

 

चीन सीमा को जोड़ने वाले तीन मार्ग बंद..

भारी बारिश के कारण चीन सीमा को जोड़ने वाली तवाघाट-लिपुलेख, तवाघाट-सोबला और सोबला-दर-तिदांग सड़क कई दिनों से बंद है। कार्यदायी संस्थाएं पिछले कई दिनों से सड़कों को खोलने का प्रयास कर रहे हैं, लेकिन लगातार हो रही बारिश के कारण सड़क खोलने में दिक्कत आ रही है।

 

अस्थाई पुल के सहारे नदी पार कर रहे लोग

देहरादून में बारिश के बाद कई जगह नदियां उफान पर है। इसके चलते लोग अस्थाई पुल के सहारे नदी पार करने को मजबूर हैं। दो दिनों से हो रही बारिश के चलते चमोली जिले के पोखरी ब्लॉक की कई सड़कें भी बंद पड़ी हैं, इससे लोगों को आवाजाही में दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। सड़कें बंद होने से ग्रामीणों को कई किमी पैदल चलना पड़ रहा है।

बारिश से पीएमजीएसवाई की पोखरी-पैणी कुजासू, जौरासी-तोणजी, पोखरी-हापला-गोपेश्वर और लोनिवि की हापला-गुडम, नैल नौली सहित कई सड़कें बंद पड़ी हैं। जौरासी-तोणजी मोटर मार्ग की स्थिति काफी दयनीय बनी हुई है। मार्ग जगह-जगह क्षतिग्रस्त हो रखा है। इधर, पोखरी-हापला और गोपेश्वर-हापला सड़कें दो सालों से बदहाल पड़ी हैं। गोपेश्वर-हापला सड़क बामनाथ चट्टान पर करीब पांच मीटर तक क्षतिग्रस्त पड़ी है, जिससे यहां छोटे वाहन भी मुश्किल से इधर उधर जा पा रहे हैं। वहीं, पोखरी-हापला सड़क हापला से पांच किलोमीटर पहले धौड़ा-किमोठा में बीते वर्ष बरसात के समय से क्षतिग्रस्त है।

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