पेट्रोल-डीजल जल्द हो सकता है सस्ता, मोदी सरकार 15 मार्च तक कर रही टैक्स घटाने की तैयारी..
देश-विदेश : पेट्रोल और डीजल की कीमतें आसमान को छू रही हैं। लेकिन जनता को राहत देने के लिए वित्त मंत्रालय पेट्रोल और डीजल पर एक्साइज ड्यूटी घटाने की योजना भी बना रहे है। सरकारी सूत्रों के मुताबिक, 15 मार्च तक तेल पर टैक्स घटाने के बारे में फैसला लिया जा सकता है। इस संदर्भ में केंद्रीय वित्त मंत्रालय से जुड़े एक अधिकारी ने बताया है कि इस मामले में राज्यों, तेल कंपनियों और तेल मंत्रालय बातचीत कर रहे हैं। इसमें तेल कंपनियों से सहमति मिलने की उम्मीद भी है।
जनता है महंगाई से परेशान..
कुछ राज्यों में कई वजहों से पेट्रोल की कीमत अब 100 रुपये प्रति लीटर तक पहुंच गई है। आम लोग और विपक्ष इसका विरोध कर रहे हैं। लगातार ईंधन की कीमतें बढ़ने से ट्रांसपोर्टेशन खर्च भी बढ़ रहा है, इसका असर सब्जियों के दाम समेत कई और चीजों पर भी पड़ रहा है। आम जनता महंगाई से परेशान हो गयी है। जबकि सरकार ईंधन की बढ़ती कीमतों की वजह अंतरराष्ट्रीय बाजार में क्रूड ऑयल प्राइस में उछाल को बता रही है। मालूम है कि पिछले 10 महीनों में कच्चे तेल की कीमत लगभग दोगुनी हुई है। देश में इनके खुदरा मूल्यों में टैक्स या एक्साइज ड्यूटी (उत्पाद शुल्क) करीब 60 प्रतिशत तक है। ऐसे में यदि सरकार इस पर टैक्स कम कर देती है तो जनता को राहत मिलेगी।
केंद्र-राज्यों को समन्वित प्रयास करने चाहिए, RBI गवर्नर..
25 फरवरी को भारतीय रिजर्व बैंक के गवर्नर शक्तिकांत दास ने भी कहा था कि ईंधन के दाम में कमी लाने के लिए केंद्र और राज्य सरकारों के बीच समन्वित प्रयास किए जाने की आवश्यकता हुई है। उन्होंने कहा कि पेट्रोल, डीजल के दाम में कमी के लिए इन पर लगने वाले करों के मामले में केंद्र और राज्यों को मिलकर कदम उठाना चाहिए। शक्तिकांत दास बांबे चैंबर ऑफ कॉमर्स द्वारा आयोजित एक कार्यक्रम में बोल रहे थे।
इतना टैक्स लगता है तेल पर..
दुनिया का तीसरा सबसे बड़ा तेल बाजार वाला देश भारत अपने यहां विकास को बढ़ावा देने के लिए क्रूड ऑयल पर निर्भर है। भारत में हर साल करीब 2116 लाख टन तेल की खपत होती है, जिसमें से 350 लाख टन से कम का उत्पादन भारत में होता है। भारत के पास पर्याप्त भंडार नहीं है। भारत अपने यहां करीब 85 तक क्रूड ऑयल का आयात करता है, जो ईंधन की बढ़ती कीमतों का एक बड़ा कारण है। तेल उत्पादक देशों ने आपूर्ति कटौती की है, लेकिन मांग लगातार बढ़ती जा रही है। इसके चलते ईंधन की कीमतें बढ़ती जा रही हैं। भारत में तेल पर 260 प्रतिशत टैक्स लगता है।