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`केदारनाथ फिल्म` का सोशल मीडिया पर विरोध…

`केदारनाथ फिल्म` में धाम की आस्था को ठेस पहुंचाने का आरोप 

फिल्म निर्देशक पहले भी पहाड़ी बोले भाले लोगों को लगा चुके है चूना…

अब सोशल मीडिया पर आया नया बवाल… 

2013 उत्तराखंड त्रासदी पर आधारित बन रही थी फिल्म

केदारनाथ :  पांच साल पहले 2013 केदारनाथ समेत उत्तराखंड में आई आपदा हिमालय के इतिहास में सबसे भयानक त्रासदी थी  जिस में लगबग 10 हज़ार से ज्यादा लोग मारे गए थे और हजारों लोग लापता हो गए थे ये त्रासदी उत्तराखंड के सीने पर लगा ऐसा जख्म है  जो आने वाले कई दशकों तक दिल में सिहरन पैदा कर देगा वो ऐसा वक्त रहा होगा जब कई लोग मिले होंगे, बिछुड़े होंगे। ऐसे भीषण हालात में मदद करने वाले और मदद पाने वाले में एक आत्मीयता का रिश्ता बन जाने की संभावना होती है। ये आत्मीयता प्रेम में बदल जाए इसकी भी संभावना होती है। लेकिन उस त्रासदी को एक काल्पनिक कहानी बनाकर अलग ही रंग देने की कोशिश हो, तो सवाल उठना वाजिब है । ऐसा ही आजकल केदारनाथ फिल्म के साथ हो रहा है। सोशल मीडिया पर खासतौर पर स्थानीय और उत्तराखंड  लोग इस फिल्म के विरोध में उतरते दिख रहे हैं।

कुछ लोगो ने सोशल मीडिया पर लिखा है कि ‘केदारनाथ धाम और वहां की आस्था को गलत तरीके से दिखाया गया है तो कुछ लोग लिखते है की केदारनाथ फिल्म को केदारनाथ आपदा के बाद वहा की हालातो और आपदा में स्थानीय लोगो के संघर्षो पे आधारित होनी चाहिये थी पर फिल्म निर्देशक काल्पनिक कहानी बनाकर अलग ही रंग से दिखाने की कोशिश कर रहे है बता दे आपदा के वक्त केदारनाथ में मौजूद रहे चश्मदीदों के अनुसार केदारघाटी में आपदा के दौरान स्थानीय कई लोगो ने अपनी जान की परवाह किये कई लोगो की जिंदगी सवार दी थी  तो कुछ स्थानीय लोगो ने अपनी जान लोगो की मदत करते हुए खो दी थी,

वही एक वेबसाइट इंडिया स्पीक्स डेली ने लिखा है कि ‘’इस फिल्म में प्रेम को हिंदू-मुस्लिम रंग दिया गया है, जो कि एक नए विवाद को जन्म देगा। निर्देशक एक काल्पनिक कथा को एक सच्चे हादसे के केंद्र में रचता है। भीड़ जुटाने और विवाद पैदा करने के लिए नायक को मुस्लिम बताता है। उनके बीच प्रणय दृश्य फिल्माता है’’। वैसे देखा जाए तो केदारनाथ फिल्म इससे पहले भी विवादों आ चुकी है। डायरेक्टर अभिषेक कपूर अपनी फिल्म ‘केदारनाथ’ की शूटिंग के लिए रुद्रप्रयाग जिले में आए। इस दौरान फिल्म के निर्माता ने स्थानीय युवाओं से फिल्म के क्रू के लिए कुछ काम करवाया था। बताया जा रहा है कि उन युवाओं का भुगतान तक नहीं हुआ है। रुद्रप्रयाग के इन युवाओं ने जिलाधिकारी मंगेश घिल्डियाल से इस बारे में शिकायत भी की।

श्री केदारनाथ ज्योतिर्लिंग के फेसबुक पेज से भी फिल्म का विरोध हुआ है 

नहीं हुआ अभी तक स्थानीय लोगो का भुगतान 

आपको जानकर हैरानी होगी कि एक युवक का 35 हजार रुपये बकाया है। ऐसे 35 युवक हैं और सभी का अलग अलग बकाया है। इस फिल्म की शूटिंग करीब सवा महीने केदारघाटी के त्रियुगीनारायण गांव के अलावा सोनप्रयाग, गौरीकुंड, केदारनाथ धाम, चोपता में की गई। त्रियुगीनारायण के ही रहने वाले राजेश भट्ट का कहना है कि उसे 35 हजार रुपये का चूना लगा लिया गया। निर्माता ने ये पैसा खाते में डालने की बात कही थी। लेकिन फिल्मी दुनिया की तरह ये वादे भी फुर्र हो गए।

 

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