चिरबिटिया आईटीआई को लेकर क्रमिक-अनशन जारी..
स्थानीय जनता ने दी उग्र आंदोलन की चेतावनी..
जखोली। चिरबिटिया में आईटीआई के पुनः संचालन को लेकर आंदोलनकारियों का क्रमिक-अनशन चैथे दिन भी जारी रहा। आंदोलनकारियों ने स्पष्ट कहा कि आईटीआई के दोबारा संचालन होने तक आंदोलन जारी रहेगा। चैथे दिन ग्राम प्रधान तयूंखर दर्शनी देवी, विक्रम सिंह, गुमान सिंह, खुशाल सिंह, बचन सिंह, सुभाष सिंह, उत्तम सिंह, उपेंद्र सिंह, नत्थी लाल, क्षेत्र पंचायत प्रतिनिधि अर्जुन सिंह क्रमिक-अनशन पर बैठे रहे।
क्रमिक-अनशन में बैठे आंदोलनकारियों ने कहा कि पिछले चार दिन से चिरबिटिया में आईटीआई के लिए आंदोलन किया जा रहा है। लेकिन अभी तक सरकार ने आंदोलन की सुध नहीं ली है। उन्होंने कहा कि अगर सरकार ने चिरबिटिया में दोबारा आईटीआई शुरू नहीं किया तो स्थानीय जनता को उग्र आंदोलन के लिए विवश होना पड़ेगा। ब्लॉक प्रमुख प्रदीप थपलियाल ने आंदोलन को समर्थन देते हुए कहा कि आईटीआई चिरबिटिया का बंद होना दुर्भाग्यपूर्ण है। उन्होंने कहा कि स्थानीय लोगों के लंबे संघर्ष के बाद आईटीआई स्थापित हुआ था। लेकिन आज सरकार की गलत नीतियों के कारण व्यावसायिक संस्थान बंद हो रहे हैं।
कांग्रेस के वरिष्ठ नेता बीरेंद्र बुटोला ने आंदोलन को समर्थन देते हुए कहा कि भाजपा सरकार लगातार व्यावसायिक संस्थानों को बंद कर रही है। ऐसे में नौजवानों का भविष्य बर्बाद हो रहा है। प्रधान संगठन के पूर्व अध्यक्ष धनराज बंगारी एवं शिक्षा प्रकोष्ठ के जिलाध्यक्ष शिव सिंह रावत ने कहा कि आईटीआई के लिए लड़ी जा रही इस लड़ाई में वह हमेशा जनता के साथ खड़े हैं।
इस मौके पर प्रधान संगठन के जिलाध्यक्ष देवेंद्र भंडारी, बीरेंद्र राणा, कुमडी के प्रधान धर्मेंद्र बिष्ट, जैली के प्रधान प्रतिनिधि प्रदीप रावत, संघर्ष समिति के अध्यक्ष सैन सिंह मेहरा, जन विकास संस्थान चिरबिटिया के अध्यक्ष बैसाखी लाल, प्रधान लुठियाग दिनेश सिंह कैंतुरा, पूर्व प्रधान प्रेम सिंह, सामाजिक कार्यकर्ता कमल सिंह, कुंवर सिंह कैंतुरा, उप प्रधान त्रिलोक सिंह, रूप सिंह, दीपक राणा, सम्पूर्ण सिंह सहित अन्य लोग मौजूद थे।
’करोड़ों की लागत से बना भाजपा कार्यालय के सिवाय कोई बड़ी उपलब्धि नहीं..
रुद्रप्रयाग। उत्तराखंड क्रांति दल के युवा नेता मोहित डिमरी ने चैथे दिन क्रमिक-अनशन स्थल पहुँचकर आंदोलन को समर्थन दिया। उन्होंने कहा कि भाजपा सरकार की पांच साल में सबसे बड़ी उपलब्धि यह रही कि रुद्रप्रयाग में करोड़ों रुपये की लागत से भाजपा कार्यालय बनकर तैयार हो गया है। इसके ठीक उलट चिरबिटिया में कृषि महाविद्यालय का निर्माण कार्य आधा-अधूरा छोड़ दिया गया है। बड़मा क्षेत्र में सैनिक स्कूल का निर्माण अधर में लटक गया है।आईटीआई के भवन के लिए सरकार पैसा जारी नहीं कर रही। भाजपा के कार्यालयके बजाय इन संस्थानों पर पैसा खर्चा होता तो यहां के युवाओं को इसका लाभ मिलता।
उन्होंने कहा कि पिछले साढ़े चार वर्षों में विकास के नाम पर सिर्फ जनता को गुमराह किया गया। शिक्षण संस्थाओं को बंद कर युवाओं का भविष्य बर्बाद किया गया। आगामी विधानसभा चुनाव में जनता भाजपा को इसका जवाब जरूर देगी। वहीं उक्रांद के वरिष्ठ उपाध्यक्ष भगत चैहान और आईटी के महामंत्री सुमित कठैत ने कहा कि प्रदेश भर में आईटीआई और पॉलीटेक्निक संस्थानों को बंद किया जा रहा है। ऐसे में युवाओं के सामने व्यावसायिक शिक्षा का संकट खड़ा हो गया है। अब युवा सड़कों पर उतरकर अपने हक के लिए लड़ने के लिए तैयार हैं।